गौरेला पेंड्रा मरवाही: विधानसभा सदन की घोषणा को किया जा रहा नजरअंदाज , मनरेगा में हुए गंभीर भ्रष्टाचार को दबाने के लिए शासन और प्रशासन कर रहा लीपापोती ,
विधानसभा सदन की घोषणा को किया जा रहा नजरअंदाज , मनरेगा में हुए गंभीर भ्रष्टाचार को दबाने के लिए शासन और प्रशासन कर रहा लीपापोती ,
जीपीएम : – महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) में अनियमितता पर विधानसभा सत्र में पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री द्वारा बड़ी कार्यवाही करते हुए 15 अधिकारियों-कर्मचारियों को निलंबित करने की घोषणा गई थी
जिसपर आज पर्यंत तक किसी भी तरह की कार्यवाही न होना सदन की कार्यवाही की अवमानना को दर्शाता है
उल्लेखनीय है कि महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण योजना जो केंद्र सरकार की महत्वपूर्ण योजना है उसपर करोड़ो रुपयों का फर्मो के जरिये आहरण करना एक गंभीर अपराध के साथ मनरेगा अधिनियम एक्ट का भी उलग्घन है
महत्वपूर्ण बात यह है कि प्रदेश के वन्य कर्मचारी छत्तीसगढ़ वन कर्मचारी संघ के आवाहन पर विगत एक सप्ताह से अनिश्चित कालीन हड़ताल पर चले गए है किंतु वन विभाग द्वारा बिना स्टीमेट एवं मस्टर रोल के भ्रष्टाचार से सबंधित सभी अपूर्ण निर्माण कार्यो को किस अधिकारी के निर्देश पर एक सप्ताह पूर्व से कराया जा रहा है इससे ऐसा प्रतीत होता है कि भ्रष्टाचार के इतने बड़े गंभीर मामले को दबाने के लिए शासन एवं प्रशासन लीपापोती में लग गए है ऐसे में अब देखने वाली बात होगी कि विधानसभा सदन के अंदर की गई घोषणा पर कार्यवाही अमल में लाई जाती है या फिर सदन की घोषणा मात्र घोषणा बनकर रह जाती है .