छत्तीसगढ़-रायपुर अब बारिश मे भी होगा सीमांकन किसान सादे कागज मे कर सकेगे आवेदन-भुपेश बघेलसमय पर काम पूरा नहीं करने वाले अफसरों पर लोक सेवा गारंटी कानून के तहत जुर्माना
रायपुर. अफसरों को अब सादे कागज़ पर भी आवेदन स्वीकार करना पड़ेगा और निश्चित समय सीमा में कार्रवाई भी करनी पड़ेगी। अगर ऐसा नहीं होता है और ऊपर तक शिकायत पहुंचती है, तो अफसरों पर कार्रवाई हो सकती है। बुधवार को कलेक्टर्स कांफ्रेंस में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने तल्ख लहजे में यह हिदायत दी है। साफ कहा गया है कि जो लोग समय सीमा के भीतर काम नहीं करते, उनके खिलाफ लोक सेवा गारंटी कानून के तहत एक्शन लिया जाएगा।
22 मार्च से पहले जो भी आवेदन मिले हैं, उन्हें एक सप्ताह के भीतर निपटाने का टास्क दिया गया है। एक अहम आदेश यह भी दिया है कि शहरी क्षेत्रों में सीमांकन का काम बारिश में भी जारी रखा जाए। आमतौर पर बारिश के समय सीमांकन के काम रुक जाते हैं। मुख्यमंत्री ने लॉकडाऊन के दौरान पुलिस के कार्यों की प्रशंसा भी की। सीएम बघेल ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए सभी जिलों के कलेक्टरों से बात की।कोरोना से लड़ने के लिए उन्होंने शासकीय कर्मचारियों और अधिकारियों की प्रशंसा भी की और कहा कि शनिवार-रविवार समेत त्यौहारों पर भी लोगों ने काम किया है।
बावजूद इसके आंकड़े बढ़ रहे हैं। लेकिन हम जल्द ही इस पर नियंत्रण पा लेंगे। सीएम ने कहा कि दुर्ग, रायपुर और बिलासपुर आईजी ने पैदल चलने वाले मजदूरों के लिए अच्छा काम किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में क्वारेंटाइन सेंटर में अच्छी व्यवस्था की गई है। औद्योगिक उत्पादन और रोजगार देने में छत्तीसगढ़ अग्रणी रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों के साथ नगरीय क्षेत्रों में भी रोजगार उपलब्ध कराया गया है। कुछ औद्योगिक इकाइयों ने बिना सूचना के श्रमिकों को लाया, यह चिंताजनक है। सीएम ने सभी कलेक्टरों को शहरी क्षेत्रों में सीमांकन का कार्य बरसात के समय में भी करने कहा है। सीएम ने दस्तावेजों का जिले के किसी भी तहसील में पंजीयन कराने की प्रक्रिया को शुरू करने कहा है।
अब दर्पण से योजनाओं की निगरानी सीएम तक पहुंचा सकेंगे अपनी बात
कलेक्टर्स कांफ्रेंस से पहले मुख्यमंत्री दर्पण वेबसाइट और मोबाइल एप का लोकार्पण हुआ। इस वेबसाइट के जरिए सीएम राज्य सरकार की सुराजी गांव योजना सहित अन्य फ्लैगशिप योजनाओं की नियमित मॉनिटरिंग कर सकेंगे। वेबसाइट और मोबाइल एप के जरिए लोग भी लोगों को आसानी से राज्य की योजनाओं की जानकारी मिलेगी। सीएम बघेल ने कहा कि पोर्टल और एप से सीएम सचिवालय से योजनाओं की निगरानी होगी। वहीं दूसरी ओर लोग अपनी समस्याएं भी बता और निराकरण होने तक निगरानी की जाएगी। एसीएस सुब्रत साहू ने बताया कि पोर्टल और मोबाइल एप की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि हम नो पेपर मूल्यांकन और रियल टाइम मानिटरिंग की ओर बढ़ रहे हैं।