रेप और हत्या करने वाले मामा को फांसी की सजा:7 साल की बच्ची से की थी दरिंदगी, 30 दिन में आया फैसला

नागौर के पॉक्सो कोर्ट ने 7े साल की मासूम बच्ची से रेप और हत्या के मामले में उसके मुंहबोले मामा को फांसी की सजा सुनाई है। बच्ची के साथ दरिंदगी के 30 दिन में कोर्ट ने यह फैसला सुना दिया है।

पॉक्सो विशेष कोर्ट की जज रेखा राठौड़ ने यह निर्णय दिया। कोर्ट ने दोषी दिनेश जाट (25) को फांसी की सजा सुनाई। विशिष्ट लोक अभियोजक एडवोकेट सुमेर सिंह बेड़ा ने कहा कि जघन्य अपराधों में फांसी की सजा का प्रावधान है। न्यायालय ने इस मामले को भी ऐसा ही प्रकरण माना। इससे पहले गुरुवार को नागौर पॉक्सो विशेष कोर्ट ने 7 साल की मासूम बच्ची से रेप के बाद हत्या के मामले में आरोपी मुंहबोले मामा दिनेश को दोषी करार दिया था। विशिष्ट लोक अभियोजक एडवोकेट सुमेर सिंह बेड़ा ने बताया कि 11 दिन तक रोज सुनवाई चली।

इस दौरान मामले में पीड़िता पक्ष की तरफ से 29 गवाहों के और बचाव पक्ष की तरफ से एक गवाह के बयान करवाए गए थे। इसके अलावा बचाव पक्ष के वकील की डिमांड पर डॉक्टर्स टीम के द्वारा आरोपी की मेंटल कंडीशन की जांच भी करवाई गई।

कुत्तों का डर बताकर खेत में ले गया था मुंहबोला मामा

नागौर के पादूकलां थाना क्षेत्र के एक गांव में 20 सितंबर को मुंहबोले मामा दिनेश पुत्र रामचंद्र ने नशे में होने का नाटक किया। उसने कुत्तों से डर की बात कही और 7 साल की बच्ची को घर तक छुड़वाने के लिए साथ ले गया। उसने पास के खेत में खड़ी बाजरे की फसल में ले जाकर मासूम को बिस्किट और कुरकुरे खिलाए। यहां मासूम के साथ रेप किया। इसके बाद अपनी पोल खुलने के डर से उसकी हत्या कर दी और शव को खेत की कंटीली झाड़ियों में फेंककर भाग गया।

6 दिन में पेश कर दी थी चार्जशीट

पादूकलां थाना पुलिस ने घटना के तुरंत बाद ही आरोपी दिनेश को गिरफ्तार कर लिया था। पकड़ में आते ही आरोपी दिनेश ने पूछताछ में अपना जुर्म कबूल लिया। पुलिस ने 21 सितंबर को अपहरण, पॉक्सो, मर्डर और रेप की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की थी। इसके बाद प्रकरण से जुड़े सभी गवाहों के बयान और दस्तावेज तैयार किए गए। 27 सितंबर को पुलिस ने सभी आरोपों में जुर्म प्रमाणित मान मेड़ता स्थित पॉक्सो कोर्ट में आरोपी दिनेश के खिलाफ चार्जशीट पेश कर दी थी।